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मां दुर्गा को चढ़ाएं गुड़हल का फूल, प्रसन्न होंगी शैलपुत्री

मां दुर्गा को चढ़ाएं गुड़हल का फूल, प्रसन्न होंगी शैलपुत्री

मां दुर्गा को चढ़ाएं गुड़हल का फूल, प्रसन्न होंगी शैलपुत्री

अमृतसर । नवरात्र का आज पहला दिन है। इसके साथ ही भारतीय नववर्ष भी शुरू हो चुका है। हिंदू धम में नवरात्र का काफी महत्व है। क्योंकि भारतीय धर्म संस्कृति में शक्ति की पूजा को विशेष महत्व दिया गया है। दूसरे शब्दों में कहें तों मां दुर्गा की पूजा नारि शक्ति के प्रति सम्मान को भी दर्शाता है।
वर्ष में तीन-तीन माह पर चार नवरात्र पड़ते हैं। इनमें दो गुप्त नवरात्रे हैं। इसबाद 13 अप्रैल को घट स्थापना से मां दुर्गा की पूजा शुरू हो जाएगी जो नौ दिनों तक चलेगी। इन नौ दिनों मां दुर्गा के नौ स्वरूपों की पूजा की जाती है।

पूजा में है फूलों का विशेष स्थान

भारतीय धर्म संस्कृति में पूजा को सर्वोपरि स्थान दिया गया है। चाहे वह पूजा देवताओं की हो या प्रकृति की । सभी तरह की पूजा में फूलों की आश्यकता होती है। ऐसे में यह जान लेना आवश्यक होगा कि मां दुर्गा को कौंन सा पुष्प अर्पित किया जाएग जिससे व प्रसन्न हों। ऐसे में आज हम आपको बताने जा रहे हैं कि नवरात्र के नौ दिनों में कौन सा फूल चढ़ा सकते हैं और कौन सा नहीं।

माता को प्रिय है गुड़हल का फूल

नवरात्र के पहले दिन मां शैलपुत्री की आराधना की जाती है। मां शैलपुत्री हिमालय के बेटी हैं। शैलपुत्री की पूजा के लिए आप गुड़हल का फूल अर्पित कर सकते हैं। इन्हें लाल पुष्प अति प्रिय हैं। इसके साथ ही घी भी अर्पित कर सकते हैं।

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ब्रह्मचारिणी को चढ़ाएं गुलदाउदी

नवरात्रि का दूसरा दिन मताब्रह्मचारिणी की उपासना की जाती है। मान्यता है कि देवी पार्वती ने कठित तप कर भवना शिव को वर के रूप में प्राप्त किया था। इन्हें शेवंती के पुष्प और मीठा भोजन अति प्रिय है। अर्थात आप इन्हें गुलदाउदी के पुष्प अर्पित कर सकते हैं। माता के आशीर्वाद से वैवाहिक जीवन की परेशानिया दूर होती हैं।

मां चंद्रघंटा को चढ़ाएं कमल

माता चंद्रघंटा की पूजा नवरात्र के तीसरे दिन की जाती है। देवी को कमल का पुष्प अन्यंत प्रिय है। इन्हें दूध से बनी मिठाई और दूध अर्पित करने से आप सुख और लंबी उम्र का आशीर्वाद प्राप्त कर सकते हैं।

देवी कुष्मांडा को चढ़ाएं चमेली का फूल

मां दुर्गा का ही स्वरूप हैं देवी कुष्मांडा। नवरात्रि के चौथे दिन देवी कुष्मांडा की पूजा की जाती है। इनकी आराधना आप चमेली का पुष्प अर्पित कर सकते हैं। इन्हें चमेली का फूल अति प्रिय है। देवी को भोग के रूप में आप एक प्रकार का मीठा पकवान भी अर्पित कर सकते हैं।

स्कंदमाता को चढ़ाएं पीले रंग का फूल

नवरात्रि के पांचवें दिन स्कंद माता की पूजा की जाती है। इन्हें पीले रंग के फूल पसंद हैं। इनकी पूजा से जीवन में शांति आती है। इन्हें आप पीले रंग का गेंदा, कनेर चढ़ा सकते हैं। साथ ही केले भी अर्पित करें।

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मां कात्यायनी को पसंद हैं गेंदे के फूल

माता कात्यायनी यानी शक्तिस्वरूपा मां दुर्गा का छठवां स्वरूप। इनकी पूजा में भक्त गेदा के फूलों से पूजा कर सकते हैं। इन्हें पीले रंग के चमेली के फूल भी चढ़ा सकते हैं।

दवी कालरात्रि को अर्पित करें श्चाम कमल

नवरात्रि के सातवें दिन माता कालरात्रि की पूजा की जाती है। इनकी पूजा में आप कृष्ण कमल अर्थात श्यम रंग के कमल के पुष्प अर्पित कर सकते हैं। माता के आशीर्वाद से भक्त निर्भय और तनाव मुक्त होने के लिए गुड़ भी चढ़ा सकते हैं।

नवरात्रि के आठवें दिन करें मोगरा से पूजा

नवरात्रि का आठवां दिन महागौरी को समर्पित है। भगवान शिव की तपस्या से प्रसन्न होकर देवी दुर्गा ने यह रूप धारण किया। मां महागौरी के भक्तों को मोगरा के फूल अर्पित कर सकते हैं।

नवरात्र के नौवें दिन करें चंपा के फूलों से पूजा

माता के नौंवे स्वरूप में सिद्धिदात्री की पूजा की जाती है। माता को चंपा के फूल अति प्रिय हैं। इनकी पूजा में चंपा के फूलों को अर्पित करें। आशीर्वाद मिलेगा।








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